Bhajan Name- Darbar Tera Darbaro Mai Jaise Koi Chand Ho Taro Mei Bhajan Lyrics ( दरबार तेरा दरबारों में जैसे कोई चाँद हो तारों में भजन लिरिक्स )
Bhajan Lyric – Pradeep Sahil
Bhajan Singer – Nidhi Sahil
Music Lable-
दरबार तेरा दरबारों में,
जैसे कोई चाँद हो तारों में,
महिमा गाऊँ क्या तेरी माँ,
तुझ सा नहीं एक हज़ारों में ।।
तर्ज – दिल लूटने वाले जादूगर।
जो भी तेरे दर आता है,
मन चाही मुरादें पाता है,
मुमकिन ही नहीं तुलना उसकी,
माँ बच्चों का जो नाता है,
ख़ुशक़िस्मत हूँ बड़भागी हूँ,
मैं भी हूँ तेरे दुलारों में,
दरबार तेरा दरबारो में,
जैसे कोई चाँद हो तारों में ।।
जब जब तेरा दर्शन पाऊँ,
मैया मैं गदगद हो जाऊँ,
कुछ ना कुछ दे ही देती हो,
जब भी तेरे दर पर आऊँ,
हर बार नया इक जुड़ जाता,
उपकार तेरे उपकारों में,
दरबार तेरा दरबारो में,
जैसे कोई चाँद हो तारों में ।।
बच्चों का सब कुछ तू है माँ,
मैं फूल हूँ तू ख़ुशबू है माँ,
‘साहिल’ मैं क्या हूँ कुछ भी नहीं,
सब तेरा ही जादू है माँ,
दुख को सुख में बदला तूने,
मातम बदला त्यौहारों में,
दरबार तेरा दरबारो में,
जैसे कोई चाँद हो तारों में ।।
दरबार तेरा दरबारों में,
जैसे कोई चाँद हो तारों में,
महिमा गाऊँ क्या तेरी माँ,
तुझ सा नहीं एक हज़ारों में ।।